किसानों को विभागीय लूट से बचाने को ऑनलाइन भुगतान करे सरकार: मोर्चा
# प्रतिवर्ष करोड़ों रुपए की होती है सब्जियों व फूल के बीज की खरीद |
#खरीद एवं वितरण में होता है भारी घोटाला |
#20 हजार से 1 लाख रुपए प्रति किलोग्राम तक है सब्जियों के बीज की कीमत |
#किसानों को घटिया क्वालिटी का बीज थमा कर की जाती है खानापूर्ति |
#किसान दिन-प्रतिदिन हो रहा गरीब, अधिकारी रातों-रात रात बन रहे धन्ना सेठ |
संवाददाता
देहरादून। जन संघर्ष मोर्चा अध्यक्ष एवं जीएमवीएन के पूर्व उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने कहा कि उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग द्वारा प्रतिवर्ष करोड़ों रुपए मूल्य के सब्जियों, फूलों के बीज की खरीद की जाती है तथा विभाग द्वारा इन बीजों को प्रदेश के किसानों को निशुल्क वितरित किया जाता है | अगर खरीदे गए बीज की कीमत की बात की जाए तो टमाटर 45-90 हजार प्रति किलोग्राम, फूलगोभी 40-50 हजार, शिमला मिर्च 80- 90 हजार, बंद गोभी 20- 30 हजार, गेंदा फूल बीज 6-20 हजार, ब्रोकली 50-60 हजार, खीरा 40-50 हजार ,हाइब्रिड गेंदा फूल बीज 10- 25 हजार प्रति किलोग्राम तथा अदरक 5-10 हजार प्रति कुंतल की दर से खरीदा जाता है | नेगी ने कहा कि विभाग द्वारा कागजों में खरीद उच्च क्वालिटी की दर्शाई जाती है तथा इसके विपरीत खरीद बिल्कुल घटिया क्वालिटी की होती है, जोकि बामुश्किल 20-30 फ़ीसदी ही धरातल पर उगती है | इसके साथ साथ वितरण में भी भारी अनियमितता बरती जाती है | अन्य खरीद के मामले में भी विभाग ने बड़े-बड़े कारनामे कर रखें हैं | इस खरीद एवं वितरण के घोटाले की तुलना कर्मकार कल्याण बोर्ड से की जा सकती है | मोर्चा सरकार से मांग करता है कि किसानों को बीज के बदले ऑनलाइन भुगतान की व्यवस्था करे,जिससे ये लूट-खसोट बंद हो तथा किसानों को शत-प्रतिशत लाभ मिल सके |