गुरुवार, 25 फ़रवरी 2021

235 करोड़ की विधायक निधि खर्च नहीं कर पाये माननीय

 235 करोड़ की विधायक निधि खर्च नहीं कर पाये माननीय



सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम को उपलब्ध सूचना सेे खुलासा

संवाददाता

काशीपुर। उत्तराखंड केे वर्तमान विधायकों को 2017 से दिसम्बर 2020 तक कुल 940.75 करोड़ रूपयेे की विधायक निधि उपलब्ध हुुई जबकि उसमें सेे दिसम्बर 2020 तक केवल 75 फीसदी 705.14 करोड़़ की विधायक निधि ही खर्च होे सकी। 25 फीसदी 223.91 करोेड़ की विधायक निधि खर्च होेनेे को शेष हैै। सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन को ग्र्राम्य विकास आयुक्त कार्यालय द्वारा उपलब्ध करायी गयी सूचना सेे यह मामला प्र्रकाश मेें आया हैै।

काशीपुर निवासी सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन नेे उत्तराखंड केे ग्र्राम्य विकास आयुक्त कार्यालय सेे विधायक निधि खर्च सम्बन्धी सूचना मांगी थी। जिसके उत्तर मेें लोक सूचना अधिकारी/आयुक्त (प्र्रशासन) हरगोविंद भट्ट द्वारा पत्रांक 3108 केे साथ विधायक निधि वर्ष 2017-18 से 2020-21 का विवरण उपलब्ध कराया है। जिसमें दिसम्बर 2020 के अंत तक की विधाायक निधि खर्च का विवरण दिया गया हैै।

उपलब्ध सूूचना केे अनुुसार उत्तराखंड के 71 विधायक को 13.25 करोड़ रूपयेे प्रति विधायक की दर सेे 940.75 करोड़ रूपयेे की विधायक निधि दिसम्बर 2020 तक उपलब्ध करायी गयी। इसमें सेे जनवरी 2021 केे प्र्रारंभ मंेे रूपये 235.91 करोड़ की विधायक निधि खर्च होेनेे कोे शेष हैै।  

प्रदेश के 71 विधायकों में से 9 विधायकांे की 60 फीसदी से कम विधायक निधि खर्च हुई है जबकि 2 विधयकों की केवल 40 व 44 फीसदी विधायक निधि ही खर्च हुई हैै। जबकि 90 फीसदी से अधिक विधायक निधि खर्च होने वालेे विधायकों में केवल दो विधायक शामिल हैै। 

सबसेे कम विधायक निधि 40 फीसदी खर्च वालों में विधायक मनोज रावत तथा 44 फीसदी खर्च वाले में धरचूला विधायक हरीश सिंह धामी शामिल है। जबकि सर्वाधिक 93 फीसदी खर्च वाले नामित सदस्य जीआईजी मैनन तथा 92 फीसदी खर्च वाले मंगलौर विधायक निजामुददीन शामिल हैै।

उपलब्ध विवरण के अनुसार 51 से 60 फीसदी खर्च वाले विधायकों में मीना गंगौला, चन्द्रा पंत, धनसिंह, करन मेहरा, गोविन्द सिंह कुंजवाल, महेश नेगी शामिल है। 61 से 70 फीसदी खर्च वाले विधायकों में प्रेम चन्द्र अग्रवाल, बिशन सिंह चुफाल, मुन्ना सिंह चौहान, दिलीप सिंह रावत, मदन कौशिक, महेन्द्र भट्ट, सहदेव पुंडीर, विजय सिंह पवार, मगन लाल शाह, सतपाल महाराज, पुष्कर सिंह धामी, गोपाल सिंह रावत, प्र्रीतम सिंह शामिल हैै।  

71 से 75 फीसदी खर्च वाले विधायकों में सुरेन्द्र सिंह जीना, रघुराम चौहान, दीवान सिंह बिष्ट, सुरेन्द्र सिंह नेगी, देशराज कर्णवाल, सुबोध उनियाल, हरभजन सिंह चीमा, यशपाल आर्य, रीता खंडूरी शामिल हैै। 76 से 80 फीसदी खर्च वाले विधायकों में बंशीधर भगत, राजेश शुक्ला, राजकुमार ठुुकराल, आदेश सिंह चौहान, केदार सिंह रावत, संजीव आर्य, हरक सिंह रावम, यतीशवरानन्द, त्रिवेन्द्र सिंह रावत, शक्तिलाल शाह, रेखा आर्य, ममता राकेश, इन्दिरा हृदेयश, मुकेश कोली शामिल है।

81 से 85 फीसदी खर्च वाले विधायकों में प्रेम सिंह राना, रामसिंह केेड़ा, खजान दास, प्र्रदीप बतरा, सुरेश राठौैर, अरविन्द पांडेय, भरत सिंह, फुरकान अहमद, हरबंश कपूर, उमेश शर्मा, विनोद कंडारी, विनोद चमोली, संजय गुप्ता, नवीन चन्द्र दुम्का, सौैरभ बहुगुणा, प्रीतम सिंह पवार शामिल है। 86 से 90 फीसदी खर्च वाले विधायकों में कुंवर प्रणव सिंह चैैम्पियन, राजकुमार, धन सिंह नेगी, आदेश चौहान, चन्दन राम दास, बलवंत सिंह, गणेश जोशी, कैलाश गहतौैड़ी, पूरन सिंह फर्त्याल शामिल है।

उपलब्ध विवरण के अनुसार उत्तराखंड के मंत्रियों में डोईवाला विधायक मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र्र सिंह रावत की 79 फीसदी, कैबिनेट मंत्री चौैबट्टाखाल विधायक सतपाल महाराज की 68 फीसदी, कोटद्वार विधायक डा0 हरक सिंह रावत की 78 फीसदी, हरिद्वार विधायक मदन कौशिक की 65 फीसदी, बाजपुर विधायक यशपाल आर्य की 75 फीसदी, गदरपुर विधायक अरविन्द पाण्डेेे की 82 फीसदी, नरेन्द्र नगर विधायक सुबोेध उनियाल की 73 फीसदी तथा राज्यमंत्री सोमेश्वर विधायक रेेखा आर्य की 80 फीसदी तथा श्रीनगर विधायक डा0 धनसिंह की 56 फीसदी विधायक निधि ही दिसम्बर 2020 तक खर्च हो सकी हैै। नेता प्रतिपक्ष व हल्द्वानी विधायक श्रीमति इंदिरा हृद्येश की 80 फीसदी विधयक निधि खर्च हुई है।


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