सोमवार, 1 मार्च 2021

असली चमत्कार

असली चमत्कारः देखना चाहते हो तो ‘श्वांस’ को देखो

अगर इस श्वांस को नहीं समझ पाए तो ये हाथ से निकल जायेगा



संकलनः पी0एस0नेगी 

देहरादून। चमत्कार के प्रति मानव हृदय सहज आकर्षित होता है। लोग चमत्कार देखना चाहते है, पर उन्हें नहीं मालूम होता कि असली चमत्कार क्या होता है? गउ हरी घास खाती है और सफेद दूध देती है। इसे लोग चमत्कार नहीं मानते है, पर पत्थर में से अगर दूध निकल आये तो यह चमत्कार है। 

क्या है असली चमत्कार? अगर तुम चमत्कार देखना चाहते हो तो अपने इस ‘श्वांस’ को देखो। यह है असली चमत्कार। इसे दुनिया की दौलत से नहीं खरीदा जा सकता। इस श्वांस को समझने की कोशिश करो। अपने जीवन को समझने की कोशिश करो। 

आज तुम जीवित हो तो जीवित होने का असली मतलब क्या है? क्या है इसका मतलब कि यह श्वांस तुम्हारे अंदर आया और फिर चला गया। क्योंकि एक दिन आयेगा, जब तुम इस श्वांस के मोहताज हो जाओगे। यह आएगा, जाएगा और पिफर नहीं आएगा। जीवन में यही होता है। श्वांस से मूल्यवान इस दुनिया में कुछ भी नहीं है। चाहे करोड़पति हो या भिखारी, शिक्षित हो या अशिक्षित, दुनिया का सारा चक्कर इसके साथ ही खत्म हो जाएगा।

अगर इस श्वांस को नहीं समझ पाए तो जो ये अनमोल उपहार मिला है, वह भी हाथ से निकल जायेगा। यदि असली चमत्कार को समझना चाहते हो तो अपने अंदर, अपने हृदय की तरफ देखो। यह चमत्कार बाहर नहीं मिलेगा। यह चमत्कार तुम्हारे अंदर हो रहा है। जिसकी तुम्हें तलाश है, जिस दोस्ती की तुम्हें तलाश है, जो सबका दोस्त है, वह दोस्त तुम्हारे अंदर है। वह किसी से बैर नहीं करता, चाहे तुम्हारा सब कुछ समाप्त हो जाये। 

मनुष्य एक ऐसा यंत्र है, जिसके रोम-रोम में एक ही याचना है। वह है जीवन में आनंद और संतुष्टि पाने की। वह सुख-चैन और परम आनंद का अनुभव कर सके। इस मनुष्य चोले के अंदर एक ऐसी चीज रखी हुई है, जो अनंत है। सभी जीवों का प्राण है। सुखमय और आनंददायक है। उस चीज को पहचानो। जब तक तुम उस चीज को नहीं पहचानोगे, इस जीवन को सफल नहीं कर पाओगे।


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